आईपीएल 2025: आरसीबी की ऐतिहासिक जीत पर मातम, बेंगलुरु में भगदड़ से 7 की मौत
Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!बेंगलुरु, 4 जून (रिपोर्टर) – रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की बहुप्रतीक्षित आईपीएल 2025 जीत का जश्न आज एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर एक दुखद हादसे में बदल गया। आरसीबी की ऐतिहासिक जीत के बाद आयोजित विक्ट्री परेड के दौरान मची भगदड़ में कम से कम 7 लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। इस घटना ने एक बार फिर बड़े आयोजनों में भीड़ प्रबंधन और सुरक्षा उपायों की प्रभावशीलता पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
कैसे हुई भगदड़ की घटना?
प्रत्यक्षदर्शियों और रिपोर्टों के अनुसार, यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना तब घटी जब आरसीबी के खिलाड़ियों को स्टेडियम में प्रवेश देने के लिए गेट खोले गए। हजारों की संख्या में बेकाबू प्रशंसक अपने चहेते खिलाड़ियों की एक झलक पाने और स्टेडियम में प्रवेश करने के लिए इकट्ठा थे। जैसे ही गेट खुले, स्टेडियम में घुसने की होड़ में जबरदस्त धक्का-मुक्की शुरू हो गई। भीड़ इतनी अनियंत्रित हो गई कि लोग दीवारों को कूदकर, पेड़ों पर चढ़कर अंदर घुसने की कोशिश कर रहे थे। इसी आपाधापी में कई लोग कुचल गए, जिससे 7 लोगों की जान चली गई और अनेकों घायल हो गए। कुछ घायलों को बॉवरिंग अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनकी हालत गंभीर बताई जा रही है।
प्रशासनिक नाकामी और सुरक्षा पर सवाल
पुलिस और प्रशासन ने विक्ट्री परेड के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया था और सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। हालांकि, भीड़ की अप्रत्याशित संख्या और शाम को हुई बारिश ने स्थिति को और जटिल बना दिया। बारिश ने जहां भगदड़ को नियंत्रित करने में बाधा डाली, वहीं भारी भीड़ को नियंत्रित करने में पुलिस को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। इस घटना ने साफ तौर पर यह सवाल खड़ा किया है कि क्या प्रशासन और आयोजकों ने इस विशाल कार्यक्रम के लिए पर्याप्त भीड़ प्रबंधन और सुरक्षा योजना बनाई थी। कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ ने अभी तक घायलों की आधिकारिक संख्या की पुष्टि नहीं की है, लेकिन कई वीडियो में पुलिस को घायल और बेहोश लोगों को अस्पताल ले जाते हुए देखा जा सकता है, जो स्थिति की गंभीरता को दर्शाता है।
जीत का जश्न बना मातम का कारण
मंगलवार रात पंजाब किंग्स के खिलाफ आईपीएल 2025 के फाइनल में आरसीबी की 6 रन से जीत के बाद से ही बेंगलुरु की सड़कों पर प्रशंसकों का उत्साह चरम पर था। फैंस ने रातभर आतिशबाजी कर अपनी खुशी का इजहार किया और सुबह होते ही सड़कों पर फिर से भीड़ उमड़ पड़ी। आरसीबी के खिलाड़ियों का विक्ट्री परेड दोपहर 3 बजे निकलने वाला था, लेकिन बढ़ती भीड़ के कारण प्रशासन ने कार्यक्रम के समय में बदलाव भी किया था। बावजूद इसके, यह दुखद घटना आरसीबी की 18 साल बाद पहली खिताबी जीत के ऐतिहासिक पल को गहरे शोक में बदलने का कारण बनी है।
यह दुर्घटना प्रशासन के लिए एक गंभीर चेतावनी है कि भविष्य में ऐसे बड़े सार्वजनिक आयोजनों के लिए सुरक्षा उपायों और भीड़ प्रबंधन रणनीतियों को और भी मजबूत किया जाना चाहिए ताकि ऐसी दुखद घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो। प्रशासन द्वारा इस घटना की गहन जांच की उम्मीद की जा रही है ताकि जवाबदेही तय की जा सके और भविष्य के लिए सबक सीखे जा सकें।